Unit I:
स्वरज्ञान-सात शुद्ध स्वरों को गाना एवं पहचानना।
Unit II:
राग ज्ञान-यमन, भैरवी, देस, असावरी, काफी (प्रत्येक राग में सरगम एवं एक छोटा ख्याल)
Unit III:
निर्धारित रागों में लगने वाले शुद्ध एवं विकृत स्वरों की प्रायोगिक जानकारी
Unit IV:
ताल-त्रिताल, एकताल, कहरवा एवं दादरा की मौखिक जानकारी और ठाह व दुगुन।